Vivo kis desh ki company hai?Vivo Kaha ki company hai

आज के इस पोस्ट में हमलोग vivo kis desh ki company hai/vivo kaha ki company hai, ये जानने की कोसिस करेंगे और इसके इतिहास के बारे में भी जानने की कोसिस करेंगे। इससे पिछले वाले पोस्ट में हमने जाना की Redmi किस देश की कंपनी है. अगर कोई इंसान भारत में smartphone खरीदना चाहते है और उसे Vivo का option न मिले, ऐसा होना मुश्किल है.

आज के इस पोस्ट में हमलोग वीवो कहाँ की कंपनी है जानने की कोसिस करते है. बिना किसी .अगर आपको ये information अच्छी और helpful लगे तो please इसे अपने जानने वालो के साथ जरूर शेयर करे.

Vivo kis desh ki company hai?

Vivo kis desh ki company hai? Vivo, China की कंपनी है, जिसका मालिकाना हक़ BBK Electronics के पास है, अगर इस कंपनी के headquarter के बारे में बात की जाये तो इसका इसका headquarter Guangdong China में है.

Vivo मुख्यतः स्मार्टफोन, स्मार्टफोन एक्सेसरीज, सॉफ्टवेयर और online services design और develop करती है. ये कंपनी जो भी develop करती है वो अपने smartphones के लिए करती है, इन software को distribute करने के लिए V-Appstore का इस्तेमाल करती है, इस कंपनी के पास खुद proprietary Android based OS भी जिसका नाम है, Funtouch OS ये OS आपको Vivo के सभी smartphones में मिल जायेगा।

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इसका मालिकाना हक़ BBK Electronics के पास है, लेकिन ये एक independent कंपनी है, इसके पास 10000 से employees है, अपना खुद का research and development facility भी है. इसका R&D center Shenzhen, Guangdong, Nanjing और Jiangsu में है. आपको ये भी जान लेना चाहिए की, ये कंपनी budget smartphone और mid-range स्मार्टफोन दोनों बनाती है.

इस सेक्शन में हमने ये जाना की Vivo kis desh ki company hai, इसका मालिक कौन है. अब हम Vivo के इतिहास जानने की कोसिस करते है.

वीवो का इतिहास

पिछले सेक्शन में हमने जाना की, vivo kaha ki company hai, लेकिन इस सेक्शन में हमलोग इस कंपनी के इतिहास के बारे में जानेंगे।

वीवो की स्थापना चीन के Dongguan 2009 में हुई थी. 2015 के पहले quarter में Vivo smartphone makers के लिस्ट में टॉप 10 में था, और इसी दौरान ग्लोबल मार्किट का 2.7% का हिस्सेदार में बना था.

2009 में स्थापित होने के बाद ये कंपनी अब 100 से भी जय्दा देशो में अपनी पहुँच बना चूका है. 2014 तक ये कंपनी एक domestic player थी, लेकिन 2014 में इसने अपना international carrier की शुरुवात की थाईलैंड से. इसके कुछ समय बाद ही ये कंपनी भारत, इंडोनेशिया, मलेशिया, म्यांमार, फिलीपींस और वियतनाम में भी अपने operation शुरू कर दिया।

26 नवंबर 2017 को वीवो ने नेपाली market में एंट्री की अपने दो मॉडल के साथ जिनका नाम Y53 और Y65 था. इसी साल वीवो ने और भी दूसरे देशों में अपने product लांच किये थे जैसे की- रूस, श्रीलंका, ताइवान, होन्ग कोंग, ब्रूनेई, मकाऊ, कंबोडिया, लाओस, बांग्लादेश और पाकिस्तान। बहुत ही कम समय में इन देशों में कंपनी ने popularity gain की.

2014 में कंपनी ने 25 million smartphone बेचे चीन में, 2015 में ये volume बढ़कर 45 million हो गया ग्लोबली। वीवो आज के समय में one of the most profitable smartphone brand है चीन में. इसकी सालाना production capacity 60 million pieces है.

ये कंपनी अपने innovation और hi-fi features के लिए जानी जाती है. इस ब्रांड का स्मार्टफोन मैंने भी यूज किया है पहले भी. October 2015 में वीवो, Indian Premier League title sponsor बना था. 2020 अगस्त में भारत-चीन के बीच हुए झड़प के कारण Vivo और BCCI के बीच का डील ब्रेक हो गया था.

वीवो के भारत में, कुछ controversies है. उनमे से एक है, IMEI number controversy. जून 2020 में मेरठ पुलिस के cybercrime यूनिट ये पता किया था की, वीवो के लगभग 135000 फ़ोन्स एक ही IMEI number पर काम कर रहा था.

इस पेरशानी के बारे में पता तब चला, जब मेरठ पुलिस के एक officer का फ़ोन ख़राब हुआ, और अपने फ़ोन में क्या खराबी है पता करने के लिए अपने फ़ोन को cybercrime unit के staff को दिया, फ़ोन सही से काम नहीं कर रहा था, उसे ठीक करने के मेरठ वीवो service center दिया गया, और इसी समय पता चला की उस फ़ोन का IMEI number डिफरेंट है, जो इसके डब्बे पर प्रिंट था. फिर पता चला की उस same IMEI number पर 13557 फ़ोन चल रहे थे, भारत के अलग-अलग राज्यों में.

तो इस पोस्ट में हमने जाना Vivo kis desh ki company hai और वीवो का इतिहास क्या है? उम्मीद है की आपलोगो को ये जानकारी अच्छी लगी होगी, अगर लगी है तो इसे जरूर शेयर करे.

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